के० एस० टी०,कानपुर नगर संवाददाता।अनंत चतुर्दशी पर शुक्रवार को घरों और पंडालों में विराजे गौरी सुत श्री गणेश भगवान का भक्तिपूर्ण माहौल में पूजन-अर्चन किया गया। गणेशोत्सव के आखिरी दिन ढोल-नगाड़ों की थाप पर थिरकते और अबीर-गुलाल उड़ाते श्रद्धालुओं ने शोभायात्रा निकाली। जय गणेश, काटो क्लेश… गणपति बप्पा मोरया अगले बरस फिर जल्दी आना… के उद्घोष के बीच सुख-समृद्धि की.
कामना के साथ गंगा तटों पर बने कृत्रिम तालाबों में गणेश प्रतिमा का विसर्जन किया गया। गणपति की विदाई के समय कई श्रद्धालु भावुक भी नजर आए और उनकी आंखों से आंसू छलक पड़े। लहराती ध्वज-पतकाओं और शंखनाद से माहौल भक्तिरस से सराबोर हो गया। गंगा बैराज, मैस्कर घाट, परमट के काली घाट, जाजमऊ, कोयला घाट, अर्मापुर नगर, रामगंगा नहर के पास बने कृत्रिम तालाबों में तीन हजार से.
ज्यादा पंडालों में विराजमान गणपति महाराज का विसर्जन किया गया। पुलिस बल और वालंटियर्स ने विसर्जन में मदद की। कल्याणपुर से वरुण सिंह और लाभांशी सिर पर बप्पा की प्रतिमा रखकर पैदल गंगा बैराज पहुंचे। अगले बरस जल्दी आने की कामना करते हुए विघ्नहर्ता को विदाई दी। कृष्णा, शिवा, ध्रुव, नवीन, अजय पांडेय, विक्की मौजूद रहे।
सिद्धि विनायक मंदिर में श्रद्धालुओं की कतार-:घंटाघर स्थित सिद्धि विनायक मंदिर में अनंत चतुर्दशी पर भोर पहर से पूजन अर्चन की शुरुआत हो गई। मंदिर समिति के सदस्यों ने सिद्धि विनायक की आरती कर बप्पा को मोदक का भोग अर्पित किया। मंदिर में दर्शन को पहुंचे सैकड़ों भक्तों ने समद्धि का वर मांगकर बप्पा का प्रसाद ग्रहण किया।
घरों में हुआ अनंत चतुर्दशी का पूजन-:गणेश भगवान का विसर्जन करने से पहले भक्तों ने घरों में अनंत चतुर्दशी का पूजन किया। भगवान विष्णु के अनंत रूप का पूजन कर 14 गांठों वाले अनंता को हाथ में बांधा।