यमुना में गिरने के बाद 40 फीट गहराई से निकाला गया चालक का शव

के० एस० टी०,बांदा संवाददाता। बारा-गलौली पांटून पुल से धान लदे ट्रक समेत यमुना नदी में गिरे चालक का शव तीन दिन बाद बरामद किया गया। खलासी का शव पहले ही बरामद हो चुका है। एसडीआरएफ की टीम यहां डेरा डाले हुए है और कड़ी मशक्कत के बाद देर शाम ट्रक को पानी से बाहर निकालने की जद्दोजहद करती रही। हरियाणा नंबर का ट्रक अतर्रा से धान लादकर गाजियाबाद के लिए चला था। 

रात ट्रक पांटून पुल से नीचे गिर गया था। शनिवार सुबह राहगीरों की सूचना पर फतेहपुर की जाफर गंज और बांदा के जसपुरा की पुलिस पहुंची। स्थानीय गोताखोरों की मदद से पानी में डूबे लोगों की तलाश शुरू की गई थी। रविवार को केबिन से बाहर हाथ देख गोताखोरों ने खलासी का शव बरामद कर लिया था। ट्रक के केबिन में लोगों को फंसे होने का अंदेशा देख सीओ राकेश सिंह ने एसडीआरएफ लखनऊ से संपर्क किया,

जिसके बाद राजेंद्र शुक्ला की अगुवाई में 15 सदस्यीय टीम शनिवार रात करीब नौ बजे पहुंची थी। जसपुरा थाना प्रभारी राजेश वर्मा भी टीम के साथ मदद में लगे थे।

 

 

 

 

 

 

तीन सौ बोरियां लदी थीं ट्रक मे-: ट्रक में करीब तीस टन यानी तीन सौ धान की बोरियां लदी थीं। जिससे ट्रक गहराई में चला गया। हादसे की जानकारी के बाद दिल्ली से ट्रक मालिक मनोज गर्ग भी पहुंच गए। खलासी फर्रुखाबाद के लाल दरवाजा निवासी 30 वर्षीय साजिद पुत्र बाबूअली का शव बरामद होने के बाद चालक की तलाश की जा रही थी। दोपहर करीब दो बजे के बाद कन्नौज के पठान टोला निवासी चालक 30 वर्षीय शकील पुत्र मो. शमीम का शव बरामद किया जा सका।

 

 

 

 

 

 

चालीस फीट नीचे मिला शव-: जसपुरा थानेदार ने बताया कि यमुना में करीब चालीस फीट नीचे चालक का शव बरामद किया जा सका। एसडीआरएफ के प्रेमचंद्र, मिथिलेश कुमार, गुलशन कुमार आदि ने शव बरामद किया।

 

 

 

 

 

पहले निकाली गईं बोरियां-: थाना प्रभारी राजेश वर्मा ने हाइड्रा मशीन मंगाकर पहले नाव से तीन सौ धान की बोरियों को बाहर निकलवाया। जिसके बाद ट्रक के नीचे दबे चालक मोहम्मद शकील का शव निकाला जा सका। भाई का शव देखते ही छोटा भाई अकील फफक पड़ा। बताया कि शकील तीन भाइयों में सबसे बड़ा था।

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