के० एस० टी०,कानपुर नगर संवाददाता।कोरोना संक्रमण के इस दौर में भले ही लॉकड़ाउन लगा है लेकिन न तो दुकानदार बाज आ रहे हैं और न ही ग्राहक। शटर बंद कर पीछे से हो रही दुकानदारी कहीं भारी न पड़़ जाये। कोरोना संक्रमण की रफ्तार रोकने के लिए भले ही लॉकड़ाउन लगा हो।
लेकिन ईद के त्योहार को लेकर लोग कोरोना कफ्र्यू को तोड़़ते हुए खरीदारी करने से बाज नहीं आ रहे हैं। दुकानदारों को भी मालूम है कि त्योहार का मौका है‚ लिहाजा व दुकानदारी का नया तरीका अपना रहे हैं। बाहर से तो दुकानों के शटर गिरे नजर आते हैं। जबकि सच्चाई यह होती है की.
भीतर ग्राहकों की भीड़़ मौजूद रहती है। फजलगंज, नजीराबाद, कल्याणपुर, गोविन्द नगर, लाल बंगला‚ किदवई नगर‚ यशोदा नगर‚ सीसामऊ सहित अन्य प्रमुख बाजारों में कुछ दुकानदारों ने बिक्री का नया तरीका ढूढ़ लिया है। लाल बंगला में तो सुबह सात बजे से ही कुछ दुकानें खुल जाती हैं। हालांकि इनमें सड़़क पर की दुकानें न होकर गलियों के भीतर की.
दुकानों के शटर उठते हैं। जैसे–जैसे सूूरज चढ़ता है। शटर भी धीरे–धीरे नीचे होने लगते हैं। दुकानों के बाहर कर्मचारी खड़े रहते हैं जो कि ग्राहकों से पूछते हैं कि उन्हें क्या चाहिये। जब एक साथ कई ग्राहक हो जाते हैं तो बंद शटर खटखटा कर दुकान के भीतर मौजूद कर्मचारी को इशारा करते हैं।
कुछ सेकेन्ड़ के लिए शटर उठता है‚ ग्राहकों के अंदर होते ही शटर फिर गिर गाता है। इनमें ज्यादातर दुकानें रेड़ीमेड़ कपड़़ों‚ जूता–चप्पल की हैं। ग्राहक भी पूर्व परिचित ही होते हैं। सहालग का समान बेचने वाली दुकानों के बाहर भी भीड़़ लगती है। अगर कोई पुलिस की गाड़ी निकलती भी तो.
ग्राहकों को गली के अंदर कर दिया जाता है। लाल बंगला के एक दुकानदार ने बताया कि त्योहार के मद्देनजर बहुत माल पहले ही भर लिया था। अगर यह माल बिकेगा नहीं तो बड़़ा नुकसान हो जाएगा‚ बंदी में कर्मचारियों को वेतन भी तो देना हैं। सीसामऊ बाजार में तो कुछ दुकानें आगे से बंद हैं‚
लेकिन इनमें पीछे के दरवाजे से करोबार होता नजर आया। कर्मचारी बाहर खड़े़ ग्राहकों से पूछ लेते हैं कि उन्हें क्या चाहिये। इसके बाद उनकी मांगी गई वस्तु के तीनचार माड़ल लाकर पकड़़ा दिये जते हैं। जो पसंद आया वह ग्राहक को थमा दिया।