जलस्तर उतार-चढ़ाव के बीच ग्रामीण काफी परेशान

के० एस० टी०,आजमगढ़/रौनापार संवाददाता। जलस्तर में उतार-चढ़ाव के बीच अब सरयू नदी की विनाशलीला शुरू हो गई है। एक सप्ताह के अंदर बगहवा पूरा के करीब छह लोगों के मकान कटकर नदी में विलीन हो चुके है। अब भी दर्जनों मकान कटने के करीब हैं। डरे-सहमे ग्रामीण अपना आशियाना खुद ही उजाड़ने लगे हैं।

बेघर हुए कई परिवार के लोग आसमान के नीचे पालीथिन लगाकर गुजर बसर रहे लोग आंखों में आंसू लेकर सरयू मइया की आराधना कर रहे कि अब तो रहम करें। गुरुवार की मूसलधार बारिश के चलते नदी का जलस्तर छह सेंटीमीटर बढ़ गया। सगड़ी तहसील के उत्तरी भूभाग में बहने वाली सरयू नदी के जलस्तर में पिछले.

एक महीने से निरंतर घटने-बढ़ने का क्रम जारी है। आधा दर्जन जगहों की कटान ने देवारावासियों पर आफत की बारिश शुरू कर दी है। गागेपुर की कटान से जहां लगभग 300 किसानों की सैकड़ों एकड़ कृषि योग्य भूमि कट कर नदी में समाहित हो गई। इस पर लहारती धान, गन्ना और मक्का की खेती भी कटान की भेंट चढ़ गई।

नदी की कटान से बगहवा के राम सकल गुप्ता, रामबचन, अशोक कुमार, विजय कुमार, राणा प्रताप राजकुमार और राम सिगार का मकान कट कर नदी में विलीन हो गया। अब इस गांव के शिव लखन, राम लखन, जगरोपन, सुभाष, श्याम नारायण, अवध राम, गिरजा सहित दर्जनों लोगों के मकान नदी के कगार पर पहुंच गया है।

धाराएं इनको लगातार काट रही हैं। किसी भी समय यह लोग भी बेघर हो सकते हैं। वहीं प्रशासन इस दिशा में कोई ठोस कदम उठाने के बजाय बाढ़ क्षेत्र मानकर अपने फर्ज की इतिश्री कर ले रहा है। बुधवार को नदी का जलस्तर बदरवा नाले पर 71.18 मीटर था, जो गुरुवार को 71. 21 मीटर पर पहुंच गया। डिघिया नाले पर नदी का जलस्तर बुधवार को 70.47 मीटर था,

जो गुरुवार को नौ सेंटीमीटर पढ़कर 70.56 पर पहुंच गया। नदी के बढ़ते जलस्तर के साथ ही देवारा वासियों की दुश्वारियां भी बढ़ने लगी है।

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